Considerations To Know About sidh kunjika
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देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति अष्टमोऽध्यायः
धिजाग्रं धिजाग्रं त्रोटय त्रोटय दीप्तं कुरु कुरु स्वाहा।।
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति सप्तमोऽध्यायः
कुञ्जिकापाठमात्रेण दुर्गापाठफलं लभेत् ।
रात के समय ये पाठ ज्यादा फलदायी माना गया है.
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति दशमोऽध्यायः
श्री अन्नपूर्णा अष्टोत्तर शतनामावलिः
सिद्ध कुंजिका स्तोत्र का पाठ करने से विपदाएं स्वत: ही दूर हो जाती हैं और समस्त कष्ट से मुक्ति मिलती है। यह सिद्ध स्त्रोत है और इसे करने से दुर्गासप्तशती पढ़ने के समान पुण्य मिलता है।
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति पंचमोऽध्यायः
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क्रां क्रीं क्रूं कालिका देवि शां शीं शूं मे शुभं कुरु ।।
येन मन्त्र प्रभावेण, चण्डी जापः शुभो भवेत।।
देवी माहात्म्यं अपराध क्षमापणा स्तोत्रम्
कंट्रोवर्सी किंग हैं शाहरुख खान, कभी जेल की हवा खाई, तो कभी हुए बैन उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड